प्रिय तुम मेरी कविताओं में आओगे
जब रात चांदनी रो रोकर कोई गीत नया सुनाएगी ओस की बूंद बनकर धरती पर वह छा जाएगी उसकी उस मौन व्यथा को
View Articleप्रणय गीत : अतरंगाभूति
प्रणय बंधन का अलौकिक आनन्द प्रिय स्मृति हर पल आता है है गणना में बीते हुए पल चन्द
View Articleरोमांस गीत: घूंघट पट से नयन झांकती
जब चांदनी मेरी छत पे पिघले, पूनम का चांद मचलता हो, जब बरखा रानी बिजुरी को छेड़े,
View Articleकविता : अभी तलक बाकी है...
तुम समझ चुके हो या समझना अभी बाकी है, तुम्हारा मेरे अंदर मरना, अभी तलक बाकी है।
View Articleरोमांस कविता: दिल न लगइयो यार...!
दिल टूट जाता है, बड़ी तकलीफ होती है,जब बंधन छूट जाता है।
View Articleदिल का हाल बयां करती कविता : धड़कन...
जुबां नहीं होती दिल का हाल, कैसे बयां करतीं तेरी नजदीकियां। बहारों से पूछता बिन हवाओं
View Articleप्रेम गीत: मैं एक प्यासा प्रेमी
मैं प्यासा एक प्रेमी हूं, जो इधर-उधर भटकता हूं। अपनी प्यारी प्रिया के गम में, बिन बरसात तड़पता हूं।
View Articleप्रेम गीत : वक्त बताएगा...
प्यार के धोखे कैसे डसते हैं, शायद तुमको मालूम होगा। नींद तो मेरी टूट गई है, तेरी नींद का क्या होगा।
View Articleरोमांस कविता : छाई हुई तन्हाई
क्यों आंखों में बसे हो तुम, छाई हुई तन्हाई। अभी दूर रहो मुझसे, करने दो हमें पढ़ाई।
View Articleप्रेम दिवस पर नई कविता : आसान नहीं है प्रेम
आसान नहीं है प्रेम पर लिखना प्रेम को समझना उसे जीना या फिर परिभाषित कर
View Articleप्रेम संदेश देती कविता : कागा तुम नहीं आते मेरे द्वार
कागा तुम नहीं आते मेरे द्वार वर्षों पहले तुम आते थे अपनी कांव-कांव से यह बताते थे कि प्रिय घर आने वाले हैं।
View Articleगजल : कुछ बातें अधूरी हैं...
कुछ बातें अधूरी हैं, कहना भी ज़रूरी है, बिछड़ना मजबूरी था, मिलना भी ज़रूरी है।
View Articleरोमांस कविता : अचानक उनका दीदार हुआ...
अचानक उनका दीदार हुआ, हमारा ख्वाब जमीं पे उतर आया। मुलाकात का सरूर आंखों में उतर आया, हमें अहसास हुआ कि हमें वो पसंद करने लगा।
View Articleप्रेम गीत : देख रहा जमाना
मैं हूं तेरा दीवाना, तू नहीं करीब मेरे, मैं तेरे आसपास हूं। तेरी तस्वीर को, ले के घूमता हूं...
View Articleकविता : तुम्हारी एक छुअन...
क्या था तुम्हारी उस एक छुअन में, कि वो शाम याद आती है, तो जाती नहीं।अजब-सा खुमार था तुम्हारे सुरूर का,
View Articleकविता : आ जाती हैं कुछ यादें
धूल की पर्तों के नीचे तस्वीरों में अहसास जगाती हुई, ख़्वाहिशें कांधे पे लिए कुछ इठलाती हुईं, आ जाती हैं कुछ यादें दिल को बहकाती हुईं।
View Articleप्रेम गीत : मुझको दीवाना कह लो
तुम्हे प्यार नहीं तो क्या मुझको दीवाना कह लो। उम्मीदे वफ़ा नहीं तो क्या, मुझको दीवाना कह लो।
View Articleऔर मैं लिखता रहूंगा कविता तुम्हारी याद में...
ओस की बूंद आकाश से गिरकर, फूलों और पत्तियों पर ठहर जाएगी। रातभर रोया है चांद किसी की याद में, यह कहानी धरा
View Articleकविता : कुछ गड़बड़ है!
देख रही हूं कुछ गड़बड़ है, ये बेचैनी और ये हड़बड़ है!! मोहब्बत नई दिखे है जालिम, बोली में भी तेरे खड़खड़ है!!
View Articleप्रेम गीत : धूं धूं कर दहक रहा
तेरी याद जीने नहीं देती दायित्वों का ख्याल मरने नहीं देता। जिस्म पर निशान हलके फुल्के लगते है, अंतरमन धूं धूं कर दहक रहा है।
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